प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 17वें प्रवासी भारतीय सम्मेलन में कहा, अपन का इंदौर दुनिया में लाजवाब
अशोक झा, सिलीगुड़ी: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 17वें प्रवासी भारतीय सम्मेलन में शिरकत करने सेना के विशेष विमान से इंदौर पहुंच चुके। उन्होंने कार्यक्रम स्थल ब्रिलियंट कन्वेंशन सेंटर में सूरीनाम के राष्ट्रपति चंद्रिका प्रसाद संतोखी और गुयाना के राष्ट्रपति डॉ. मोहम्मद इरफान अली की अगवानी की।
इसके बाद उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि प्रवासी भारतीय सम्मेलन चार साल के बाद अपने मूल स्वरूप में लौट रहा है। अपनों से आमने-सामने की मुलाकात का अपना अलग ही आनंद होता है। उन्होंने इंदौर की तारीफ करते हुए कहा कि लोग कहते हैं कि इंदौर एक शहर है लेकिन मैं कहता हूं कि इंदौर एक दौर है। यह वह दौर है जो समय से आगे चलता है। फिर भी विरासत को समेटे रहता है।उन्होंने कहा कि खानपान के लिए अपन का इंदौर पूरी दुनिया में लाजवाब है. यहां पोहे का पैशन, कचोरी, समोसे, शिकंजी… जिसने भी इसे देखा, उसके मुंह का पानी नहीं रुका। जिसने इसे चखा, उसने कहीं मुड़कर नहीं देखा।
पीएम ने कहा कि हमारे लिए पूरा संसार ही स्वदेश है। इसी विचार की बुनियाद पर हमारे पूर्वजों ने भारत की संस्कृति को आकार दिया था। हम दुनियाभर में गए। हमने सदियों पहले वैश्विक व्यापार की असाधारण परंपरा को शुरू किया। आज अपने करोड़ों प्रवासी भारतीयों को देखते हैं तो उसमें वसुधैव कुटुम्बकम् के दर्शन होते हैं। भारत के अलग-अलग प्रांतों, क्षेत्रों के लोग जब मिलते हैं तो एक भारत, श्रेष्ठ भारत का अनुभव होता है। पीएम ने कहा कि एमपी में काफी कुछ है, जो इस यात्रा को अविस्मरणीय बनाएगा। पास में ही महाकाल के महालोक का दिव्य और भव्य विस्तार हुआ है।आप सब वहां जाकर भगवान महाकाल का आशीर्वाद लें। हम अभी जिस शहर में है, वह अपने आपमें अद्भुत है।
हमने सदियों पहले वैश्विक व्यापार की परंपरा शुरू की
पीएम ने कहा कि हमारे लिए पूरा संसार ही स्वदेश है। इसी विचार की बुनियाद पर हमारे पूर्वजों ने भारत की संस्कृति को आकार दिया था। हम दुनियाभर में गए. हमने सदियों पहले वैश्विक व्यापार की असाधारण परंपरा को शुरू किया। आज अपने करोड़ों प्रवासी भारतीयों को देखते हैं तो उसमें वसुधैव कुटुम्बकम् के दर्शन होते हैं. भारत के अलग-अलग प्रांतों, क्षेत्रों के लोग जब मिलते हैं तो एक भारत, श्रेष्ठ भारत का अनुभव होता है।
आज भारत को आशा और जिज्ञासा की दृष्टि से देखा जा रहा है. वैश्विक मंच पर आज भारत की आवाज सुनी जा रही है. भारत इस साल के जी20 का मेजबान भी है। हम इसे केवल एक कूटनीतिक घटना नहीं बनाना चाहते, बल्कि लोगों की भागीदारी का कार्यक्रम बनाना चाहते हैं।
लोग आज जानना चाहते है भारत की स्पीड, स्केल
पीएम ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में भारत ने विकास में जो उपलब्धियां हासिल की हैं, वे असाधारण हैं। जब भारत कोविड महामारी के बीच कुछ महीनों में स्वदेशी वैक्सीन बनाता है, जब 220 करोड़ वैक्सीन डोज मुफ्त लगाने का रिकॉर्ड बनाता है, जब भारत वैश्विक अस्थिरता के बीच दुनिया की उभरती अर्थव्यवस्था बनता है, जब भारत विश्व की सबसे बड़ी पांच अर्थव्यवस्था में शामिल होता है, जब भारत तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप इकोसिस्टम बनता है तो स्वाभाविक है कि लोगों में रुचि होगी. लोग जानना चाहते हैं कि भारत की स्पीड, स्केल क्या है? भारत का फ्यूचर क्या है?
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि आज भारत के पास नॉलेज सेंटर बनने के साथ स्किल कैपिटल बनने का अवसर है। हमारे युवाओं के पास स्किल भी है, वैल्यूज भी है और काम करने के लिए जरूरी जज्बा और ईमानदारी भी है। भारत की यह स्किल कैपिटल दुनिया के विकास का इंजिन बन सकती है। भारत की यह स्किल कैपिटल दुनिया के विकास का इंजन बन सकती है।
मां और मातृभूमि सवर्ग से भी बढ़कर: संतोखी
इसके बाद सूरीनाम के राष्ट्रपति ने अपने भाषण में कहा कि जननी जन्म भूमिश्च स्वर्गादपि गरीयसी यानी मां और मातृभूमि स्वर्ग से भी बढ़कर है।उन्होंने इंदौर की स्वच्छता की तारीफ की। उन्होंने कहा कि इंदौर बेहद सुंदर शहर है। मुझे और मेरे डेलिगेशन को यहां आत्मीयता और बेहतर सत्कार व आदर मिला। उन्होंने कहा कि हम दोनों देशों के आपसी सहयोग को बढ़ाने में यह सम्मेलन मददगार साबित होगा। भारत ने क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर अपना प्रभुत्व बढ़ाया है। अमृत काल नए युग की शुरुआत है। अमृत हमारे पूर्वजों की सदियों की मेहनत का नतीजा है. प्रधानमंत्री मोदी आपके नेतृत्व में जी20 निश्चित तौर पर वन प्लानेट, वन फैमिली, वन फ्यूचर की दिशा में काम करेगा। वसुधैव कुटुंबकम के लिए काम करेगा। दुनिया एक परिवार है. मानव जीवन बहुमूल्य है। उन्होंने कहा कि कैरेबियन और भारतीय संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए कैरिबियन में हिंदी, संस्कृति आदि में प्रशिक्षण के लिए संस्थान स्थापित किए जा सकते हैं. कैरेबियन में फिल्म उद्योग का समर्थन करने के लिए युवाओं को अपने प्रतिभा दिखाने इसके अलावा उन्हें योग, आयुर्वेद, आध्यात्मिकता को जीवन के तरीके के रूप में प्रशिक्षित करने का अवसर मिल सकता है।सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास’ की सराहना
गुयाना के राष्ट्रपति ने अपने संबोधन में कहा- भारत के लिए आज का दिन ऐतिहासिक है। मोहनदास करमचंद गांधी दक्षिण अफ्रीका से भारत लौटे थे. उन्होंने देश को आजाद करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने मोदी के सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास को भी सराहा. उन्होंने कहा कि इसके बिना कोई भी आगे नहीं बढ़ सकता। हम प्रवासियों के लिए भारत के चलाए जा रहे कार्यक्रमों से काफी कुछ सीख रहे हैं. कोरोना वैक्सीन बनाकर भारत ने दुनिया को राह दिखाई।
उन्होंने कहा कि भारत की मजबूती यहां की संस्कृति है। भारत विश्व में विकास के मामले में लीडर है। भारत टेक्नोलॉजी शेयरिंग में भी तेजी से आगे बढ़ रहा है। गुयाना भी विकास कर रहा है. फूड, हेल्थ, ऊर्जा में गुयाना आगे बढ़ रहा है. गुयाना के लक्ष्यों को हासिल करने की रणनीति और रूपरेखा में भारत एक बड़ी भूमिका निभाता है। यहां पर भारतीयों के लिए बहुत संभावनाएं हैं. गुयाना के लोग भारत में निवेश के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल ही में अपनी मां को खोया है। हम उनके दुख में उनके साथ हैं।
भारत में दो नरेंद्र हुए: शिवराज
इससे पहले सीएम शिवराज सिंह चौहान ने अपने स्वागत भाषण कहा कि भारत में दो नरेन्द्र हुए हैं… एक नरेन्द्र विवेकानंद स्वामी हुए और दूसरे नरेन्द्र मोदी है, जो वसुदेव कुटुंम्बकम को पूरे विश्व में फैला रहे हैं। उन्होंने कहा कि अमृतकाल में इंदौर पर अमृत की बारिश की है. इंदौर में झगड़ा इस बात का था कि प्रवासी भाई लोग होटलों में क्यों ठहरेंगे, हमारे घर में रुकेंगे। रिपोर्ट अशोक झा